टैक्‍स को कम करे सरकार और फिक्‍स रेट तय कर देने चाहिए : transporter-paramjeet-singh

परमजीत सिंह जी पटियाला के रहने वाले है।  इनका कहना है कि इन्‍होंने एक गाडी के साथ ट्रांसपोर्टस्र बिजनेस की शुरूआत की थी आज इनके पास खुद की पांच गाडियां है। इनका कहना है कि ट्रांसपोर्टस का बिजनेस इनका साईड बिजनेस है। उनका कहना है कि आज ट्रांसपोर्टस बिजनेस ऑनलाइन हो रहा है।  ऑनलाइन सिस्‍टम से इस बिजनेस को काफी फायदा तो होगा ही साथ ही साथ इसका नुकसान  भी है। ऑनलाइन सिस्‍टम में भाडे के असली पैसा तो दलाल लोग खा जाते है। ई वे बिल का ट्रांसपोर्टस  लाइन में आने से यह फायदा हुआ है कि अब समय की बचत हो जाती है। व्‍यपारी लोगो को ई वे बिल के आने से काफी फायदा हुआ है। परमजीत सिंह जी ओवरलोड को गाडियों के लिए सही नही मानते है। इनका कहना है कि गाडी में ओवरलोड करने से गाडी के मालिक को तो नुकसान ही होता है। असली फायदा तो व्‍यपारी को मिलता है हमारी तो गाडी को उल्‍टा नुकसान ही होता है गाडी के टायर घिसते है। उनका कहना है कि इस बिजनेस मे सबसे बडी दिक्‍कत यह आ रही है पैसे वालो का तो काम बढिया चल रहा है लेकिन जो लोग कम पैसे वाले है उनका काम कम होता जा रहा है। इनका कहना है कि हमारा तो साइड बिजनेस होनी की वजह से तो काम बढिया चल रहा है लेकिन जो लोग पर्सनल तौर पर यह काम कर रहे है उनका काम काफी मंदा हो गया है। इस र्टाइम अगर देखा जाए तो अब काम  में मंदी आ गई है , पहले बढिया था काम । जब से जीएसटी लगी है तब से काम कम है। इनका सुझाव है कि टैक्‍स को कम करे सरकार और फिक्‍स रेट तय कर देने चाहिए । परकिलोमीटर  के हिसाब से भाडे के रेट तय होने चाहिए और जो लोगा इन तय मूल्‍य से कम या अधिक रेट लेता है उसकी गाडी जब्‍त कर लेनी चाहिए ।

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