समय से पेमेंट ने मिलने के कारण बिजनेस में दिक्‍कत आती है : transporter-pankaj

पंकज जी पंजाब के लुधियाना के रहने वाले है। पंकज जी ट्रांसपोर्टस लाइन में ट्रक यूनियन के साथ अटैच गाडियों को माल देते है। ट्रक यूनियन की 2000 गाडियां है और अपनी 8 गाडियां भी ट्रक यूनियन के लिए काम करती है। पंकज जी ने फास्‍ट टैग को ट्रांसपोर्टस लाइन के लिए काफी अच्‍छा बताया। फास्‍ट टैग के आने से ट्रांसपोर्टस के बिजनेस को काफी फायदा होने वाला है। फास्‍ट टैग से बैरियर पर लम्‍बी लाइनो के लगने से छुटकारा मिल जाऐगा। फास्‍ट टैग के आने ट्रांसपोर्टस का काम काफी आसान हुआ है। टोल बैरियर पर बिना रूके ही फास्‍ट टैग की सहायता से टाेल का भुगतान कर सकते है। पंकज जी ने बताया कि मोटर व्‍हीकल एक्‍ट के लगने से चालान के रेट बढने से पब्लिक पर काफी असर हुआ है। पब्लिक सुधार के लिए तो ठीक है चालान के रेट बढे है। लेकिन गाडी से इतने खर्चे नही निकलते है इस लिए चालान  के रेट कम होने चााहिए। सरकार को गरीबों  काे ध्‍यान में रख कर ही चालान  के रेट तय करने चाहिए। पंकज जी का मानना है कि ट्रांसपोर्टस के बिजनेस के ऑनलाइन होने से ट्रांसपोर्टस लाइन को काफी फायदा  भी हो रहा है और नुकसान भी हो रहा है। फायदा यह हो रहा है कि ट्रांसपोर्टस का काम ऑनलाइन होने से ट्रांसपोर्टस को ऑनलाइन ही गाडी के लिए माल मिल सकता है। नुकसान यह है कि ऑनलाइन कंपनियां गाडी को भाडे के रेट पूरे नही देती है। पंकज जी ने बताया कि जीपीएस की सहायता से देखा जा सकता है कि गाडी सही स्‍पीड में चल रही है या नही। गाडी का मालिक जीपीएस  की सहायता से  गाडी पर पूरी नजर रख सकता है उसे गाडी की हर पल की जानकारी जीपीएस की  सहायता से मिलती रहती है। पंकज जी गाडियों में अंडर लोड को ही सही मानते है। अंडरलोड गाडी चलाने से दुर्घटना के कम होने का खतरा रहता है। पंकज जी ने ट्रांसपोर्टस लाइन में होने वाली दिक्‍कतों के बारे में बताया कि पार्टियां काम करवाकर पैसा पूरा नही देती है। पेमेंट भी गाडी की समय पर नही देते है। अगर पेमेंट टाईम पर नही देंगे तो गाडी के खर्चे कैसे निकलेगे। समय से पेमेंट ने मिलने के कारण भी ट्रांसपोर्टस के बिजनेस में दिक्‍कत आती है गाडी को काम करने के लिए भी पैसे की जरूरत पडती है। पंकज जी का सुझाव है कि डीजल के रेट एक ही बार में बढने चाहिए।  कभी कभी डीजल के भाव बढने से ट्रांसपोर्टस के बिजनेस को काफी नुकसान होता है। भाडे के रेट सही तय नही हो पाते है आए दिन डीजल के रेट बढने से। रोड टैक्‍स और टोल टैक्‍स में से एक ही टैक्‍स लेना चाहिए।

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